नई दिल्ली : आम आदमी पार्टी पार्टी मुख्यालय में हुई एक प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए वरिष्ठ नेता एवं कैबिनेट मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा, कि कल दिल्ली में जो घटना हुई उससे न केवल देश बल्कि पूरा विश्व अचंभित है.
उन्होंने कहा कि इतिहास में पहली बार ऐसा हुआ है और आज पूरे देश के लोग इस बात की चर्चा कर रहे हैं, कि किसी राज्य का मुख्यमंत्री किसी मामले में जमानत मिल जाने के बाद और जेल से बाहर आ जाने के बाद खुद यह कह रहा है, कि यदि आप लोगों को लगता है की मैं ईमानदार हूं तो आगामी चुनाव में मुझे वोट देना.
उन्होंने कहा कि इस देश में बहुत से चुनाव लड़े जाते हैं, जाति के नाम पर चुनाव लड़े जाते हैं, धर्म के नाम पर चुनाव लड़े जाते हैं, भाषा के नाम पर चुनाव लड़े जाते हैं, लेकिन यह इतिहास का पहला ऐसा चुनाव होगा, जिसमें एक मुख्यमंत्री खुद कह रहा है, कि इस बार ईमानदारी के नाम पर चुनाव लड़ा जाएगा.
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि जहां एक तरफ केंद्र में बैठी भाजपा सरकार ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी के पीछे अपनी सारी जांच एजेंसियों को लगा रखा है, उन्हें बदनाम करने की कोई कसर नहीं छोड़ी, उसके बावजूद भी दूसरी ओर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी को अपनी दिल्ली की जनता पर पूरा विश्वास है और यही कारण है, कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी दिल्ली की जनता से कह रहे हैं, कि यदि आपको लगता है कि मैं ईमानदार हूं तभी मुझे वोट देना.
सौरभ भारद्वाज ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि कल जब से मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी ने इस बात का ऐलान किया है, तब से ही पूरी दिल्ली में बसों में, गली मोहल्ले में, मेट्रो में हर जगह इस बात की चर्चा हो रही है, कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने अपनी सारी जांच एजेंसियों के माध्यम से अरविंद केजरीवाल जी के खिलाफ जो षड्यंत्र रचा, उनको फसाने की जो साजिश की गई, उन्होंने अकेले केंद्र सरकार से लड़कर सच्चाई की यह जंग जीती और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी ने ऐलान किया कि मैं जनता की अदालत में जाऊंगा, जनता के बीच जाऊंगा और यदि दिल्ली की जनता चाहेगी तभी मैं इस मुख्यमंत्री की कुर्सी पर दोबारा बैठूंगा, उनके इस एलान ने भारतीय जनता पार्टी शासित केंद्र सरकार के सारे षड्यंत्र को विफल कर दिया है.
सौरभ भारद्वाज जी ने सुबह उनके साथ घटित एक घटना का उदाहरण देते हुए बताया, कि जब वह सुबह बाल कटाने नाई की दुकान पर गए तो वहां मौजूद कुछ लोगों ने इस बारे में उनके साथ बातचीत की और वह सभी लोग पूछ रहे थे, कि चुनाव कब होंगे I उन्होंने सौरभ भारद्वाज जी से चुनाव जल्दी कराने की बात भी कही I सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली की जनता में इतनी उत्सुकता है, कि वह चाहते हैं कि जल्द से जल्द चुनाव हो और वह एक बार फिर से मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी को भारी बहुमत से चुनकर दिल्ली का मुख्यमंत्री बनाएं.
एक अन्य व्यक्ति से फोन पर हुई बातचीत का उदाहरण देते हुए उन्होंने बताया, कि वह व्यक्ति उनके विधानसभा क्षेत्र में रहता है, परंतु उसकी दुकान लाजपत नगर में स्थित है.
उसने बताया कि लाजपत नगर में जहां उनकी दुकान है, वहां आसपास में जो अन्य दुकानदार हैं उनमें से कुछ भाजपा के समर्थक भी हैं, वह भी इस बात को मान रहे हैं, कि यह अपने आप में बहुत बड़ी बात है, कि एक मुख्यमंत्री खुद अपने पद से इस्तीफा दे रहा है और कह रहा है कि यदि मैं ईमानदार हूं तभी मुझे वोट देना I
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आज पूरी दिल्ली की जनता में भारतीय जनता पार्टी के खिलाफ नाराजगी है. उन्होंने कहा कि नाराजगी इस बात की है, कि एक ऐसा व्यक्ति जिसने IRS का एग्जाम पास किया, इनकम टैक्स कमिश्नर के पद पर रहा और जनता की सेवा करने के लिए इनकम टैक्स की नौकरी छोड़कर 10 साल तक झुग्गी बस्तियों में रहकर गरीबों की मदद की, उनकी सेवा की, उस व्यक्ति को दिल्ली की जनता ने भारी बहुमत से चुनकर दिल्ली का मुख्यमंत्री बनाया और 10 साल तक तमाम परेशानियों का सामना करते हुए उन्होंने दिल्ली की जनता की सेवा की, दिल्ली के लोगों को बेहतर शिक्षा दी, बेहतर स्वास्थ्य दिया, तमाम सुविधाएं मुहैया कराई, ऐसे लोकप्रिय मुख्यमंत्री को भारतीय जनता पार्टी की केंद्र सरकार ने अपनी तमाम जांच एजेंसियों को उनके पीछे लगाकर उन्हें गिरफ्तार किया और जबरदस्ती जेल में बंद रखा I
त्रेतायुग का एक उदाहरण देते हुए सौरभ भारद्वाज ने कहा कि मर्यादा की खातिर सतयुग में भगवान श्री राम ने सत्ता का त्याग किया था और 14 बरस का बनवास काटकर आए थे. भगवान राम के वनवास जाने को लेकर पूरी अयोध्या नगरी के लोग रो रहे थे, बिलख रहे थे और उनसे आग्रह कर रहे थे, कि आप वनवास पर ना जाएं. परंतु केवल मर्यादा की खातिर भगवान श्री राम ने सत्ता का त्याग कर वनवास काटा था. उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल भगवान श्री राम के परम भक्त श्री हनुमान जी के भक्त हैं और भगवान श्री राम के भीतर जो आचरण थे आज उन्हीं का पालन करते हुए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल जी ने भी मर्यादा की खातिर सत्ता को त्यागने का ऐलान किया है और उन्होंने कहा है, कि यदि जनता को लगता है, कि मैं ईमानदार हूं और जनता जब चाहेगी तभी मैं इस मुख्यमंत्री की कुर्सी पर दोबारा बैठूंगा, अन्यथा मैं इस कुर्सी पर नहीं बैठूंगा.